श्रद्धालु भूखे, समिति मौन... माता टेकरी पर अन्न क्षेत्र ने दम तोड़ा
चढ़ावे के नाम पर लाखों करोड़ों, पर भक्तों को भरपेट भोजन नसीब नहीं
देवास(चेतन राठौड़)- लाखों की आवक पर श्रद्धालुओं के लिए भरपेट भोजन के 5 रुपये नहीं? यह हकीकत है मां चामुण्डा टेकरी की,जहां देवस्थान प्रबंध समिति की लापरवाही और संवेदनहीनता के चलते अन्न क्षेत्र पर ताले जड़ दिए गए हैं। जिस अन्न क्षेत्र में हर महीने 15 हजार से ज्यादा श्रद्धालु भोजन करते थे, उसे बिना भुगतान किए बंद कर दिया गया।
श्री भोजनालय के संचालक मोहनलाल शर्मा का कहना है कि मंदिर समिति ने 10 महीने से 6 लाख रुपये का भुगतान नहीं किया। अनुबंध में तय था कि श्रद्धालु से 20 रुपये लिए जाएंगे और 5 रुपये मंदिर समिति देगी, लेकिन यह वादा भी प्रसाद की तरह हवा में उड़ गया। और सबसे बड़ा सवाल,जब अनुबंध जुलाई 2023 में ही खत्म हो गया था तो अन्न क्षेत्र एक साल तक किस नियम के तहत संचालित होता रहा?
21 जुलाई को एसडीएम व समिति सचिव बिहारी सिंह ने अन्न क्षेत्र बंद करने का आदेश दिया और 24 जुलाई से ताले लगवा दिए। न कोई भुगतान, न कोई चर्चा। इस बीच संचालक भुखमरी पर, श्रद्धालु मायूस और मंदिर समिति मौन है।
बड़ा सवाल - लाखों के चढ़ावे वाली टेकरी पर अन्न क्षेत्र क्यों नहीं चल सकता? किस जेब में जा रहा है भक्तों का दान? कौन है जिम्मेदार? इन सभी सवालों के जवाब अभी भी देवस्थान प्रबंध समिति की फाइलों में दबा पड़ा है।
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